श्रीलंका के खिलाफ भारत का विश्वकप 1996 सेमीफाइनल क्रिकेट मैच शायद फिक्स होने के विनोद कांबली के आरोपों को ‘गैर जिम्मेदाराना’ करार देते हुए आईसीसी अध्यक्ष शरद पवार ने शनिवार को कहा कि वे इसकी जगह इस मुद्दे पर सचिन तेंडुलकर और सौरव गांगुली जैसे खिलाड़ियों की बात पर विश्वास करेंगे।
खेल मंत्री अजय माकन की जांच की मांग के बावजूद बीसीसीआई ने कांबली के आरोपों को तवज्जो देने से इनकार कर दिया।
पवार ने भी इसके बाद कहा कि ईमानदारी से कहूं तो मुझे लगता है कि यह आरोप गैर जिम्मेदाराना बयान हैं। उन्होंने कहा कि इसकी जगह मैं उस पर विश्वास करूंगा, जो सौरव गांगुली, सचिन या अजित वाडेकर कहेंगे।
बीसीसीआई के पूर्व प्रमुख पवार ने कहा कि अगर कांबली ईमानदार और प्रतिबद्ध क्रिकेटर होते तो वह अब यह मामला उठाने की जगह 1996 में विश्वकप खत्म होने के बाद यह आरोप लगाते।
पवार ने ‘टाइम्स नाउ’ से कहा कि अगर वह ईमानदार और प्रतिबद्ध क्रिकेटर होता तो वह तब इस बारे में बात करता, लेकिन वह चुप रहा इसलिए मैं उसे गैर जिम्मेदाराना ठहराता हूं।
खेल मंत्री अजय माकन की जांच की मांग के बावजूद बीसीसीआई ने कांबली के आरोपों को तवज्जो देने से इनकार कर दिया।
पवार ने भी इसके बाद कहा कि ईमानदारी से कहूं तो मुझे लगता है कि यह आरोप गैर जिम्मेदाराना बयान हैं। उन्होंने कहा कि इसकी जगह मैं उस पर विश्वास करूंगा, जो सौरव गांगुली, सचिन या अजित वाडेकर कहेंगे।
बीसीसीआई के पूर्व प्रमुख पवार ने कहा कि अगर कांबली ईमानदार और प्रतिबद्ध क्रिकेटर होते तो वह अब यह मामला उठाने की जगह 1996 में विश्वकप खत्म होने के बाद यह आरोप लगाते।
पवार ने ‘टाइम्स नाउ’ से कहा कि अगर वह ईमानदार और प्रतिबद्ध क्रिकेटर होता तो वह तब इस बारे में बात करता, लेकिन वह चुप रहा इसलिए मैं उसे गैर जिम्मेदाराना ठहराता हूं।






0 comments:
Post a Comment